आजाद भारत : वास्तव में
आज अपना देश भारत आजादी के रंग में सराबोर होकर 73 स्वतंत्रता दिवस मना रहा है,आज देश अपने अमर बलिदानियों के कुर्बानी को नमन कर रहा है , आज साथ सी साथ कई बातों पर बात करने के साथ उन पर कठोर कदम लेने की जरूरत है और सोचने की बात है कि क्या हमारे पूर्वजो ने देश को आजादी दिलाने के लिए अपने प्राण तक न्योछावर कर दिए वो भी बिना एक पल सोचे उन्होंने देश को अंग्रेजो से आजादी के साथ ही और कई चीजों से भी आजादी का सपना देखा था अंग्रेजो से आजादी तो हमे मिल गयी लेकिन क्या जो सपना उन्होंने देखा था आजादी के बाद के भारत के लिए क्या वह पूरा हुआ या आज भी पिछले 72 सालो से साथ ही साथ आज 73 साल भी हो ही गया देश मे चुनाव होते गए लोग जीतते गए और देश हारता गया क्योंकि देश तो करोड़ो लोगो से बना है और प्रधानमंत्री मुख्यमंत्री सांसद विधायक तो मात्र कुछ बनते है जो देश की भुखमरी,अशिक्षा, स्वास्थ्य,और प्रदूषण जैसी बातों को अनदेखा ही किये है जिसका परिणाम आज भो सामने है यहां लाखो लोग आज भी भूखे सो रहे है क्या देश को इस भूख से आजादी की जरूरत नही आज भी हालत यह है कि देश के जिम्मेदार पदासीन लोग इनकी भूख हरने के बज